प्रधानमंत्री किसान मानधन योजना (PM-KMY) 2025 एक सरकारी पेंशन योजना है, जो छोटे और सीमांत किसानों को वृद्धावस्था में आर्थिक सुरक्षा प्रदान करने के उद्देश्य से शुरू की गई है। यह योजना 12 सितंबर 2019 को झारखंड के रांची से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा लॉन्च की गई थी।
योजना का उद्देश्य
प्रधानमंत्री किसान मानधन योजना का मुख्य उद्देश्य छोटे और सीमांत किसानों को 60 वर्ष की आयु के बाद तीन हजार रुपये मासिक पेंशन प्रदान करना है, जिससे वे वृद्धावस्था में सम्मानपूर्वक जीवन यापन कर सकें।
पात्रता मानदंड
इस योजना का लाभ उठाने के लिए किसान की आयु 18 से 40 वर्ष के बीच होनी चाहिए। किसान के पास दो हेक्टेयर (पांच एकड़) तक की खेती योग्य भूमि होनी चाहिए। जो किसान पहले से किसी अन्य सामाजिक सुरक्षा योजना जैसे एनपीएस, ईपीएफओ, ईएसआईसी, पीएम-एसवाईएम, या पीएम-एलवीएम से जुड़े हैं, वे इस योजना के पात्र नहीं हैं।
योजना की विशेषताएं
यह योजना पूरी तरह स्वैच्छिक और अंशदायी है। किसान अपनी आयु के अनुसार 55 रुपये से 200 रुपये तक मासिक योगदान करते हैं। केंद्र सरकार किसान के योगदान के बराबर राशि इस पेंशन फंड में जमा करती है। जब किसान 60 वर्ष की आयु पूरी कर लेता है, तो उसे हर माह तीन हजार रुपये पेंशन दी जाती है। यदि किसान की मृत्यु हो जाती है, तो उसकी पत्नी या पति को पारिवारिक पेंशन के रूप में 50 प्रतिशत राशि मिलती है। किसान और उसकी पत्नी दोनों अलग-अलग नामांकन और योगदान करके व्यक्तिगत पेंशन का लाभ ले सकते हैं।
आवेदन प्रक्रिया
ऑनलाइन आवेदन
प्रधानमंत्री किसान मानधन योजना की आधिकारिक वेबसाइट pmkmy.gov.in पर जाएं।
"पंजीकरण करें" विकल्प पर क्लिक करें।
विवरण भरें और आवश्यक दस्तावेज़ अपलोड करें।
फॉर्म सबमिट करें और पावती प्राप्त करें।
ऑफलाइन आवेदन
किसान अपने नजदीकी कॉमन सर्विस सेंटर (CSC) पर जाकर आवेदन कर सकते हैं।
इसके लिए आधार कार्ड, भूमि रिकॉर्ड, बैंक पासबुक और मोबाइल नंबर जैसे दस्तावेज़ साथ ले जाना जरूरी है।
CSC ऑपरेटर आपकी संपूर्ण जानकारी लेकर पंजीकरण प्रक्रिया पूरी करेगा।
आवश्यक दस्तावेज़
आधार कार्ड
भूमि का स्वामित्व प्रमाण पत्र (दो हेक्टेयर तक)
बैंक पासबुक
मोबाइल नंबर
योजना के लाभ
60 वर्ष की आयु के बाद तीन हजार रुपये की मासिक पेंशन प्राप्त होती है।
सरकार किसान के योगदान के बराबर राशि पेंशन फंड में जमा करती है।
किसान की मृत्यु के बाद उसकी पत्नी या पति को पारिवारिक पेंशन के रूप में आधी राशि मिलती है।
पति-पत्नी दोनों अलग-अलग नामांकन कर सकते हैं और पेंशन लाभ प्राप्त कर सकते हैं।
निष्कर्ष
प्रधानमंत्री किसान मानधन योजना छोटे और सीमांत किसानों के लिए वृद्धावस्था में आर्थिक सुरक्षा सुनिश्चित करने का एक बेहतरीन प्रयास है। यह योजना किसानों को आत्मनिर्भर और सम्मानजनक जीवन जीने में सहायता करती है। यदि आप पात्र हैं, तो जल्द से जल्द इस योजना में पंजीकरण कराकर इसका लाभ उठाएं।
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